राजा रघुवंशी हत्याकांड में एक नया और चौंकाने वाला मोड़ सामने आया है। पुलिस की गहन जांच में अब तक जिन सुरागों को जोड़ना मुश्किल लग रहा था, उनमें से एक सबसे महत्वपूर्ण कड़ी अब स्पष्ट हो गई है — ‘संजय वर्मा’ असल में कोई और नहीं बल्कि सोनम का प्रेमी राज कुशवाहा है।
यह खुलासा पुलिस के लिए उतना ही चौंकाने वाला था, जितना कि जनता के लिए, क्योंकि यह मामला अब केवल एक हत्या का नहीं बल्कि एक गहरे और सुनियोजित षड्यंत्र का रूप ले चुका है।
कौन है संजय वर्मा?
राजा रघुवंशी की हत्या के बाद जब पुलिस ने सोनम के मोबाइल कॉल डिटेल्स की जांच शुरू की, तो एक नाम सबसे ज़्यादा बार सामने आया — संजय वर्मा। जांच में पता चला कि सोनम और संजय वर्मा के बीच सिर्फ एक महीने में 234 बार बातचीत हुई। यह संख्या किसी सामान्य जान-पहचान से कहीं अधिक थी और पुलिस को संदेह हुआ कि यह कोई करीबी रिश्ता हो सकता है।
शुरुआत में यह साफ नहीं हो पाया कि यह संजय वर्मा आखिर है कौन। लेकिन न्यूज़ 24 को शिलॉन्ग पुलिस के वरिष्ठ अधिकारी ने पुष्टि की कि ‘संजय वर्मा’ नाम एक फर्जी पहचान थी, जिसके पीछे सोनम का प्रेमी राज कुशवाहा छिपा था।
राज कुशवाहा की असली पहचान
जांच में सामने आया कि राज कुशवाहा ने ही वह सिम कार्ड खरीदा था जिसे ट्रूकॉलर जैसे ऐप पर ‘संजय वर्मा’ के नाम से सेव किया गया था। सोनम ने इस नंबर को अपने मोबाइल में “सोनम बिट्टू” नाम से सेव कर रखा था, ताकि परिवार वालों को शक न हो।
यह भी खुलासा हुआ कि सोनम और राज ने मिलकर इस नाम को गढ़ा, ताकि उनके रिश्ते को छुपाया जा सके और पुलिस या परिवार को कोई अंदेशा न हो। असल में यह पूरा षड्यंत्र एक बहुत ही गहराई से रचा गया प्लान था।
प्यार, साजिश और हत्या: एक खौफनाक प्लान
जैसे ही पुलिस ने कॉल डिटेल्स और चैट्स को खंगालना शुरू किया, एक दिल दहला देने वाला सच सामने आया। सोनम और राज शादी करना चाहते थे, लेकिन सोनम के घरवाले इस रिश्ते के लिए राज़ी नहीं थे। जब परिवार वालों ने सोनम की शादी राजा रघुवंशी से तय कर दी, तो सोनम और राज ने मिलकर राजा को रास्ते से हटाने की साजिश रच दी।
सोनम ने परिवार को यह कहकर राजा को मेघालय ले जाने का प्लान बनाया कि वे हनीमून मनाने जा रहे हैं। मगर, उस खूबसूरत सफर के पीछे एक खौफनाक साजिश छिपी हुई थी।
कैसे हुआ राजा रघुवंशी का मर्डर?
शिलॉन्ग पहुंचने के बाद, सोनम ने पहले से तय की गई योजना के अनुसार, तीन हमलावरों को राजा की हत्या करने के लिए तैयार रखा था। एक दिन सोनम राजा को फोटो खिंचवाने के बहाने एक सुनसान पहाड़ी इलाके में ले गई। वहां पहुंचकर सोनम ने इशारा किया और तीनों हमलावरों ने मिलकर राजा की बेरहमी से हत्या कर दी।
हत्या के बाद, सोनम ने खुद को मासूम दिखाने के लिए पुलिस को गुमराह करने की कोशिश की, लेकिन टेक्नोलॉजी और पुलिस की सतर्कता के आगे उसकी चालबाजियां ज्यादा समय तक नहीं चल सकीं।
क्यों हिला रहा है देश को ये केस?
इस हत्याकांड की कहानी किसी बॉलीवुड थ्रिलर से कम नहीं है — प्यार, धोखा, फर्जी पहचान, प्लानिंग, और बेरहमी से की गई हत्या। मगर यह हकीकत है, और इसमें जान गंवाने वाला कोई काल्पनिक पात्र नहीं बल्कि एक जीवित इंसान राजा रघुवंशी था।
राजा के परिवार वालों का कहना है कि सोनम को वो बेटी मानते थे, लेकिन उसने ही उनके बेटे को मौत के घाट उतारने की साजिश रच डाली। यह हत्या केवल एक व्यक्ति की नहीं, बल्कि विश्वास की भी हत्या थी।
क्या आगे आएंगे और चेहरे सामने?
अब जब पुलिस को साजिश के मास्टरमाइंड और फर्जी पहचान का पता चल चुका है, तो जल्द ही हमलावरों की पहचान और उनकी गिरफ्तारी भी संभव है। इस पूरे मामले में राज और सोनम की भूमिका सबसे महत्वपूर्ण है, लेकिन जांच अधिकारी यह भी पता लगाने की कोशिश कर रहे हैं कि क्या इसमें कोई और भी शामिल था, जैसे कोई दोस्त, रिश्तेदार या कोई गिरोह।
निष्कर्ष
राजा रघुवंशी हत्याकांड ने पूरे देश को झकझोर दिया है। यह मामला न सिर्फ पुलिस के लिए एक बड़ी चुनौती बन गया है, बल्कि समाज के लिए भी एक चेतावनी है — प्यार और धोखे के इस खतरनाक खेल में इंसान कहां तक गिर सकता है।
सोनम और राज की गिरफ्तारी के बाद, अब न्याय प्रक्रिया की निगाहें इस पर टिकी हैं कि राजा को आखिर इंसाफ कब मिलेगा। देश भर में लोग यह उम्मीद कर रहे हैं कि इस निर्मम हत्या का सच सामने आए और गुनहगारों को कड़ी से कड़ी सजा मिले।